हरदोई : हरपालपुर की ग्राम पंचायत बर्रा में 2016-17 से 2020-21 तक कराए गए विकास कार्यों में 25.60 लाख का घोटाला सामने आया है। तकनीकी समिति ने जांच रिपोर्ट मुख्य विकास अधिकारी को सौंप दी है। सीडीओ ने पंचायत सचिव, प्रधान सहित दोषियों पर कार्रवाई के लिए जिला पंचायत राज अधिकारी और श्रम रोजगार उपायुक्त को जिम्मेदारी दी है।
ग्राम पंचायत बर्रा में कराए गए विकास कार्यों की जांच के लिए सीडीओ आकांक्षा राना ने तकनीकी समिति जिला विकास अधिकारी अजय प्रताप सिंह, शारदा नहर के अधिशासी अभियंता एके गौतम और डीआरडीए के सहायक अभियंता राजेश कुमार सिंह को नामित किया था।
तकनीकी समिति ने बीडीओ के माध्यम से अभिलेख प्राप्त कर जांच की तो बड़ी संख्या में कार्यों में गड़बड़ी सामने आई। समिति ने स्ट्रीट लाइट, इंटरलाकिग, नाली-खड़ंजा आदि के कार्यों का स्थलीय निरीक्षण और मापांकन किया तो करीब 25 लाख 60 हजार 733 रुपये का घोटाला सामने आया।
समिति ने शासकीय राशि के घोटाला के लिए ग्राम पंचायत में तैनात रहे पंचायत सचिव मनोहर लाल, कौशलेंद्र राजपूत व पूर्व प्रधान नीतेश पाठक को दोषी बताया है। समिति ने कहा है कि कार्यों में मेजरमेंट बुक की अनदेखी करते हुए मनमाने ढंग से भुगतान किया गया है।
सीडीओ ने समिति की रिपोर्ट पर पंचायत सचिव, पूर्व प्रधान व अन्य तकनीकी कर्मियों के विरुद्ध कार्रवाई शुरू कराते हुए वसूली प्रक्रिया के लिए डीपीआरओ और उपायुक्त को आख्या तैयार करने के आदेश दिए हैं
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