होमहरदोईअंतर्जनपदीय छलिया गैंग के सरगना समेत 7 शातिर गिरफ्तार

अंतर्जनपदीय छलिया गैंग के सरगना समेत 7 शातिर गिरफ्तार

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हरदोई। मवेशी चुराने वाले अंतर्जनपदीय छलिया गैंग के सरगना समेत सात शातिरों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। इनके कब्जे से पुलिस ने लगभग 35 लाख रुपये के तीन वाहन भी बरामद किए हैं। इन्हीं वाहनों से मवेशी लादकर ले जाते थे। एसपी ने खुलासा करने वाली टीम को 25 हजार रुपये इनाम देने की घोषणा की है।

अंतर्जनपदीय छलिया गैंग के सरगना समेत सात शातिरों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है

शनिवार को पुलिस लाइन सभागार में वार्ता में एसपी अनुराग वत्स ने बताया कि मल्लावां कोतवाली क्षेत्र में कुछ दिन से मवेशी चोरी की घटनाएं बढ़ गईं थीं। इस पर स्वाट टीम के उपनिरीक्षक बृज किशोर सिंह, एसओजी टीम के अरविंद यादव और मल्लावां कोतवाल बृजेश सिंह को खुलासे के लिए लगाया गया था।

एसपी ने खुलासा करने वाली टीम को 25 हजार रुपये इनाम देने की घोषणा

मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने शुक्रवार देर रात मल्लावां कन्नौज मार्ग पर अटिया पुलिया के निकट वाहनों की जांच की। इसी दौरान वहां से तीन वाहनों से गुजरे लोगों को पुलिस ने शक होने पर रोका तो उन्होंने भागने का प्रयास किया। पुलिस ने तीनों वाहनों में सवार छलिया गैंग के सात लोगों को गिरफ्तार कर लिया।


इनके कब्जे से एक मिनी ट्रक और दो कारें बरामद हुईं। एसपी ने बताया कि गिरफ्तार लोगों में छलिया उर्फ इरफान पुत्र गुलाब निवासी चमननगरिया बंजारनडेरा मैनपुरी रोड थाना अलीगंज जनपद एटा, अखिलेश पुत्र शिवराम निवासी दाउदगंज थाना अलीगंज जनपद एटा, संजू मेवाती पुत्र नसरुल्ला निवासी अलीगंज मेवातियान थाना अलीगंज जनपद एटा, जाहिद पुत्र नन्हें निवासी सिजावलपुर थाना गंज डुंडवारा कासगंज, जमाल अख्तर पुत्र इरशाद हुसैन व जावेद पुत्र मुस्तकीम निवासीगण राम प्रसाद गौड़ थाना अलीगंज जनपद एटा व मुमताज पुत्र रसीदे निवासी मेवातियान थाना अलीगंज जनपद एटा शामिल हैं।

इनके कब्जे से तीन तमंचे, तीन कारतूस और दो खोखा भी बरामद हुए हैं। गैंग का सरगना छलिया है। ये लोग कासगंज, एटा, फर्रुखाबाद, हरदोई, कन्नौज और आगरा में पशु चोरी की घटनाओं को अंजाम देते थे। वार्ता के दौरान एएसपी पूर्वी अनिल सिंह यादव भी मौजूद रहे।


गैंग के मददगारों के बारे में जानकारी जुटा रहे : एसपी


मवेशी चोर हमेशा ही तीन वाहनों के काफिले के साथ चलते थे। सबसे आगे चलने वाला वाहन लगभग दो किलोमीटर की दूरी बनाकर चलता था और रास्ते में कोई खतरा न होने की सूचना पीछे आने वाले वाहनों को देता था। मवेशी चोरी करने के चंद दिन के अंदर ही इन्हें बेच दिया जाता था।

पुलिस पता कर रही है कि इन लोगों ने चोरी किए गए मवेशी कहां बेचे हैं। एसपी अनुराग वत्स ने बताया कि छलिया गैंग के जनपद में भी मददगार हैं। इन मददगारों के बारे में जानकारी जुटाई जा रही है। प्राथमिक तौर पर कोतवाली देहात और सांडी थाना क्षेत्र के कुछ लोगों के मददगार होने की बात पता चली है। इस पर भी जांच की जा रही है। जल्द ही मददगारों की गिरफ्तारी भी होगी।

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