ग्रापए पूरे प्रदेश में पत्रकारों का सबसे बड़ा संगठन- अतुल कपूर
पिहानी : गायत्री प्रज्ञा पीठ के प्रांगण में ग्रामीण पत्रकार एसोसिएशन (ग्रापए) द्वारा संस्थापक बाबू बालेश्वर लाल की 34वीं पुण्यतिथि पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इससे पूर्व ग्रापए लखनऊ मंडल के अध्यक्ष अतुल कपूर ने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम की शुरुआत की। पत्रकारों ने स्व. बाबू बालेश्वर लाल की चित्र पर पुष्प अर्पित कर उन्हें भावपूर्ण श्रद्धांजलि दी।
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ग्रामीण पत्रकारिता दिवस (ग्रापए) के अवसर पर ‘ग्रामोन्मुखी पत्रकारिता’ विषय पर अपने-अपने विचार कई पत्रकारों ने प्रस्तुत किए। संचालन करते हुए ग्रापए मंडलाध्यक्ष अतुल कपूर ने बताया कि सन् 1982 में इस संगठन की शुरुआत की गई थी। जिसके बाद निरंतर कई पत्रकार इससे जुड़ते रहे और आज यह संगठन पूरे प्रदेश का सबसे बड़ा संगठन है। उन्होंने बताया कि जिला पत्रकार स्थायी समिति में इस संगठन का एक प्रतिनिधि सम्मानित सदस्य के रूप में नामित किया जाता है। उन्होंने इस संगठन के बनने के शुरुआती दौर का भी वर्णन किया।
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महासचिव संजय सिंह ने कहा कि दिशाविहीन पत्रकारिता समाज को ले डूबती है और इससे आपका भी पतन होता है। किसी भी समस्या को गहराई से लिखें और उसे सभी के सामने लायें ताकि उसका ठीक प्रकार से निवारण किया जा सके।
‘बात सच हो और समाजहित की हो’ आधार पर करें पत्रकारिता- पीयूष
पीयूष शुक्ला ने कहा कि स्वार्थयुक्त पत्रकारिता आपके पतन का कारण बनती है। पत्रकारिता दो पहलुओं पर करें – बात सच हो, बात समाजहित की हो। व संगठन मंत्री संयोजक नवनीत कुमार रामजी ने कहा कि ग्रामीण पत्रकारिता ही जमीनी पत्रकारिता है। एक ग्रामीण पत्रकार 24 घंटे ऑन ड्यूटी रहता है। अपने निजी काम व निजी स्वार्थ को त्यागकर समाजहित में अपना जीवन अर्पित कर देता है।
समस्यात्मक खबरों को स्तंभ लेखन के रूप में लिखें – सौरभ
कोषाध्यक्ष सौरभ सिंह ने कहा कि समस्यात्मक खबरों को स्तंभ लेखन के रूप में लिखें। स्तंभ लेखन में किसी भी समस्या को एक विशिष्ट शैली के माध्यम से लिखा जाता है। समस्या के कारण के साथ-साथ उसका निवारण भी लिखें। ताकि संबंधित प्रतिनिधि या अधिकारी को उस समस्या को दूर करने के लिए मदद मिले।
इस बीच कोविड-19 गाइड लाइन का पालन किया गया। सोशल डिस्टनसिंग के साथ सभी पत्रकार दो पंक्तियों में उचित दूरी पर बैठे दिखाई दिए। रजनीकांत त्रिपाठी, बबलू प्रजापति, अजीत सिंह, अनिल राठौर, प्रदीप राठौर, सुनील, कमल किशोर, अवनीश कुमार अवस्थी, फूल सिंह, देशराज, जुबैर आदि पत्रकार उपस्थित रहे।