होमहरदोईपहले लिखकर दो, एनकाउंटर नहीं करोगे, हरदोई में कैदी की अजीब शर्त

पहले लिखकर दो, एनकाउंटर नहीं करोगे, हरदोई में कैदी की अजीब शर्त

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हरदोई: यूपी की योगी सरकार अपराधियों के खिलाफ ताबड़तोड़ कार्रवाई से अपराधियों में दहशत व्याप्त है। अपराधियों को एनकाउंटर का भय इस कदर सताया हुआ है कि जब पुलिस उन्हें चिकित्सीय परीक्षण के लिए अस्पताल ले जाती है तो भी उनको एनकाउंटर का भय सताता रहता है। 

जिले में एक कैदी पुलिस एनकाउंटर से इतना डर गया कि जेल जाने को तैयार ही नहीं हुआ. मरीज को इलाज के लिए अस्पताल लाया गया था लेकिन जब वापस जाने की बारी आई तो कैदी हंगामा करने लगा.

उसने कहा कि मुख्यमंत्री योगी ने पुलिस को ना जाने कौन सी बूटी सुंघा दी है जो वो ही गोली मारती है. कैदी ने पुलिस के सामने ही शर्त तक रख दी कि पहले लिखकर दो, गोली नहीं मारोगे तभी साथ जाऊंगा.

कोतवाली पिहानी क्षेत्र के मोहल्ला लोहानी का रहने वाला कैदी रिजवान ने अपनी पत्नी नाजरा बेगम पर एसिड से हमला किया था. इससे नाजरा गंभीर रूप से झुलस गई. पीड़ित नाजरा की शिकायत पर ही पुलिस ने रिजवान के खिलाफ केस दर्ज किया और उसे गिरफ्तार करके जेल भेज दिया.

जमानत पर छूटने के बाद रिजवान फरार हो गया था. तब अदालत ने उसके खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया था. पांच महीने पहले ही पुलिस के एनकाउंटर के डर से रिजवान ने अदालत में सरेंडर कर दिया था.

बताया जा रहा है रिजवान को किडनी की बीमारी है जिसके लिए KGMU, लखनऊ के डॉक्टरों ने उसका नियमित डायलिसिस कराने की सलाह दी थी. इसके चलते ही उसे डायलिसिस के लिए मेडिकल कॉलेज हरदोई लाया गया. लेकिन उसने डायलिसिस कराने से मना कर दिया तो डॉक्टरों ने उसे KGMU ही ले जाने की सलाह दी.

इसके बाद रिजवान पुलिसकर्मियों के साथ एंबुलेंस में बैठने को राजी ही नहीं हुआ. उसने हंगामा शुरू कर दिया और पुलिसकर्मियों से गोली ना मारने की बात कहने लगा. हंगामा बढ़ा तो मौके पर थाना कोतवाली शहर के अन्य पुलिसकर्मी पहुंचे. तब रिजवान ने कहा कि पुलिस उसे लिखकर दें कि रास्ते में उसे गोली (एनकाउंटर) नहीं मारेंगे. 

मामले में सीओ सिटी हरदोई विनोद द्विवेदी ने बताया- उसे जेल से जिला अस्पताल में डायलिसिस के लिए लाया गया, जहां उसने डायलिसिस कराने से मना दिया. उसे पुलिस ने समझाकर डायलिसिस कराने के बाद जेल भेज दिया है.

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