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हरदोई में हुआ बड़ा बिजली फर्जीवाड़ा, 3 एसडीएम सहित 6 लोगों पर केस

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हरदोई: फर्जीवाड़ा: यूपी के हरदोई जिले के राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के तहत वर्ष 2005-06 में 85 गांवों में हुए कार्यों में एक करोड़ 31 लाख 52 हजार 885 रुपये का फर्जीवाड़ा सामने आया है। विजिलेंस टीम ने तत्कालीन 2 अवर अभियंता, 3 उपजिलाधिकारी और रिलायंस एनर्जी लिमिटेड के सीनियर मैनेजर के खिलाफ गबन, आपराधिक साजिश और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत एफआईआर दर्ज की है।

इसके साथ ही विजिलेंस को शक है कि जब 85 गांव में हुए कार्यों में इतना बड़ा घोटाला हुआ है तो जिले के 776 गांव में हुए काम में भी बड़ा फर्जीवाड़ा हो सकता है।

आपको बता दें शासन ने 31 अगस्त 2017 में विजिलेंस जांच के आदेश दिए थे। केंद्र सरकार की राजीव गांधी ग्रामीण विद्युतीकरण योजना के अंतर्गत उत्तर प्रदेश में इस कार्यक्रम क्रियान्वयन UPPCL द्वारा किया गया। रिलायंस एनर्जी लिमिटेड को इस काम का ठेका दिया गया था।

रिलायंस ने कार्यों को पूरा करने के बाद प्रोजेक्ट UPPCL के अधिकारियों को हैंडओवर कर दिया। अधिकारियों ने भी सभी जाँच कर कंपनी को भुगतान करवा दिया, लेकिन जब 85 गांव में हुए कार्यों का भौतिक सत्यापन कराया गया तो तो पूरे फर्जीवाड़ा का खुलासा हुआ. पता चला कि पीसीसी पोल, डबल पोल, एलटी लाइन पीसीसी पोल, ट्रांसफॉर्मर समेत कई उपकरण लगाए ही नहीं गए और उनका भुगतान करवा लिया गया।

776 गांव में भी हो सकता है बड़ा फर्जीवाड़ा

विजिलेंस की जांच में पर्दाफांश हुआ कि 85 गांवों के विद्युतीकरण में रिलायंस एनर्जी लिमिटेड कंपनी को 1 करोड़ 31 लाख 52 हजार 888 रुपये का भुगतान किया गया। जांच में सेक्सनालाइजर, स्टोनपैड, डेन्जरबोर्ड और अर्थिंग वायर की भी कमियां सामने आईं। 33/11 केवी न्यू सब स्टेशन को बनाने में भी कमियां मिली।

विजिलेंस टीम के अनुसार UPPCL के अधिकारियों ने कंपनी के लोगों से सांठगाँठ कर यह फर्जीवाड़ा किया। विजिलेंस टीम ने अपनी एफआईआर में आशंका जताई है कि जिले के 776 गांवों में करवाए गए कार्यों में घोटाले की राशि और बढ़ सकती है, जो आगे की जांच में पता चल सकेगा।

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